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कहती है कुंडली : दिल्ली अभी दूर है ममता बनर्जी के लिए!

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लाइव ब्यूरो
 09 अगस्त 2023

Patna : प्रधानमंत्री पद की चाहत रखने वालों में पश्चिम बंगाल (West Bengal) की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) भी हैं. एक ज्योतिषीय विश्लेषण के मुताबिक उनकी कुंडली मेष लग्न की है. मंगल प्रधान जातक बेहद ऊर्जावान और लक्ष्य प्राप्ति के लिए दिन-रात एक करने वाले होते हैं. ममता बनर्जी में यह गुण है. उनकी कुंडली  (Horoscope) में लग्नेश मंगल लाभ भाव में उच्च के चंद्र पर दृष्टिपात कर रहा है. इससे उनका मन बेहद मजबूत है. यहां शनि की पूरी ऊर्जा ममता बनर्जी के व्यक्तित्व में समाहित दिखती है. मेष लग्न में परम राजयोग कारक गुरु चौथे भाव में विराजमान हैं. उनका राशि स्वामी भी उच्च है.

हराना असंभव
इस कारण जनता का समर्थन  (Support) मिलता है. ऐसे जातक को हराना असंभव हो जाता है. क्योंकि चौथे भाव की ऊर्जा किसी बाहरी व्यक्ति को सफल नहीं होने देती है. पर, साझेदारी का कारक सप्तम भाव ठीक नहीं है. सप्तम का स्वामी शुक्र अष्टम भाव में मंगल की राशि में है. वह पापकर्तरी योग में है. अष्टम भाव का शुक्र ममता बनर्जी को सुख वैभव से दूर रखता है. यही कारण है कि वह साधारण महिला (Simple Woman) की तरह रहती हैं. कुंडली में सत्ता का कारक सूर्य भाग्य भाव में राहु के साथ ग्रहण योग में विराजमान है.


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भाग्य से कुछ प्राप्त नहीं होगा
इससे साफ संकेत मिलता है कि भाग्य से कुछ भी प्राप्त नहीं होगा. सूर्य (Sun) केन्द्र में इनकी सरकार नहीं बनने देगा. उच्च पदों पर आसीन लोगों से मतभेद के भी संकेत हैं. शनि की दृष्टि सूर्य पर होने के कारण इन्हें अपने राज्य के बाहर कोई खास सफलता नहीं मिल पाती है. वर्तमान में गुरु का गोचर द्वादश भाव में और शनि का गोचर दशम भाव में होने से लाभ होता दिख रहा है.

गुरु है बलवान
इनकी कुंडली में गुरु बेहद बलवान है. इस कारण अब राज्य से बाहर सक्रिय हो रही है. जहां तक प्रधानमंत्री पद (Prime Minister Post) की बात है तो यह दो कारणों से मुश्किलों से घिरा है. एक तो सत्ता कारक सूर्य का ग्रहण योग में रहकर शनि से दृष्ट होना और दूसरा सप्तम में शनि पर केतु की दृष्टि रहना है. चौथे भाव में विराजमान उच्च का गुरु और दूसरे भाव में विराजमान उच्च का चन्द्र इन्हें राज्य में तो जीत दिलायेगा, लेकिन, दिल्ली (Delhi) अभी इनके लिए काफी दूर है.

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