पटना एम्स का मामला : विधायक के भाई ने कराया हमला!
विष्णुकांत मिश्र
27 अगस्त 2024
Patna : दिन के उजाले में बीच सड़क हुए जानलेवा हमले को जंगल राज के पुनरागमन की आहट नहीं, तो और क्या माना जयेगा? हमला किसी और पर नहीं सुरक्षा की जिम्मेदारी संभालने वाले एक अधिकारी पर हुआ. आरोपित कोई सामान्य आदमी नहीं, दानापुर के बाहुबली विधायक का भाई निकला. क्या है यह मामला यहां जानते हैं. प्रेमनाथ राय पटना एम्स (Patna AIIMS) के उपमुख्य सुरक्षा अधिकारी हैं. रेलवे सुरक्षा बल से प्रतिनियुक्ति (Deputation) पर आये हैं. एम्स में सुरक्षाकर्मी (Security Guard) की बहाली को लेकर 22 अगस्त 2024 को उनकी गाड़ी पर फायरिंग हुई.
योजना कुछ और थी
पटना के नगर पुलिस अधीक्षक (पश्चिम) अभिनव धीमान के मुताबिक प्रेमनाथ राय पर हमला खगौल थाना क्षेत्र के दीघा- एम्स एलिवेटेड रोड के नीचे एम्स मेन रोड पर हुआ. खतरनाक इरादे से उनके वाहन पर फायरिंग की गयी. अभिनव धीमान का यह भी कहना रहा कि दानापुर के राजद विधायक रीतलाल यादव (Ritlal Yadav) के भाई पिंकू यादव ने साजिश के तहत इसे अंजाम दिलाया. ऐसा कहा जाता है कि योजना घर के समीप ही सुबह की सैर करते वक्त काम तमाम कर देने की थी. संयोग ही कहेंगे कि उस सुबह वह टहलने नहीं निकले. निकलते तो शायद प्राण गंवा बैठते.
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इसलिए हुआ हमला
प्रेमनाथ राय (Premnath Rai) पर प्राणलेवा हमला क्यों हुआ? इस संदर्भ में अभिनव धीमान ने मीडिया को बताया कि आउटसोर्सिंग के जरिये एम्स में 50 से 60 सुरक्षा प्रहरियों की बहाली होनी है. विधायक रीतलाल यादव के भाई पिंकू यादव अपने 38 लोगों को बहाल करवाने के लिए दबाव बनाये हुए थे. इस बाबत 19 अगस्त 2024 को उन्होंने प्रेमनाथ राय को फोन किया था. उनके लोगों की बहाली नहीं होने की स्थिति में बुरे अंजाम भुगतने की धमकी भी दी थी.
लिये थे साठ – साठ हजार रुपये
यहां जानने वाली बात है कि एम्स में सुरक्षा प्रहरियों की बहाली उत्तरप्रदेश के बरेली की कंपनी सिक्योरिटी सर्विसेज साल्यूशन करती है. इसमें एम्स के उपमुख्य सुरक्षा अधिकारी की कोई भूमिका नहीं होती है. नगर पुलिस अधीक्षक (पश्चिम) अभिनव धीमान का कहना है कि विधायक के भाई पिंकू यादव (Pinku Yadav) ने एम्स में सुरक्षा प्रहरी के तौर पर बहाल कराने के लिए अनेक लोगों से साठ – साठ हजार रुपये ले रखे थे. इसमें पचास फीसदी रकम पिंकू यादव को मिलनी थी. शेष में अन्य को. इस रूप में पूर्व में कभी बहाली हुई थी, ऐसी कोई जानकारी पुलिस को नहीं है.
विधायक का है यह कहना
उधर, राजद विधायक रीतलाल यादव का कहना रहा कि पिंकू यादव ने ऐसा कतई नहीं किया होगा. क्षेत्र के लोगों की बहाली के लिए पैरवी की होगी, पर पैसा नहीं लिया होगा. हमला (Assault) करने – कराने की बात तो सोची भी नहीं जा सकती. अगर ऐसा किया होगा तो वह खुद उसे पुलिस के हवाले कर देंगे. विधायक ज़ो कहें, मामले में गिरफ्तार दो लोगों ने संभवतः पुलिस को बताया है कि पिंकू यादव के कहने पर ही इस वारदात को अंजाम दिया गया है. गिरफ्तार लोगों में एम्स में तैनात सुरक्षा प्रहरी राजकुमार और सिक्योरिटी फील्ड आफिसर गुड्डू यादव शामिल है.
अब होगी कुर्की -जब्ती
मामले में पिंकू यादव समेत छह लोग आरोपित हैं. उनमें एक एम्स का बाउंसर भी है. उस पर शूटर का इंतजाम करने का आरोप है. पुलिस पिंकू यादव को खोज रही है. इस क्रम में उसने रीतलाल यादव के कोथवां स्थित पैतृक आवास (Ancestral Home) पर भी दविश दी. पिंकू यादव पकड़ में नहीं आया. आगे कुर्की – जब्ती की कार्रवाई हो सकती है.
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