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पूर्णिया : तब भी आशान्वित हैं राजद के रणनीतिकार!

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अशोक कुमार
30 मार्च, 2022

PURNEA : सीमांचल के सियासी हलकों में यह चर्चा खूब हो रही है कि विधान परिषद (Vidhan Parishad) के पूर्णिया-अररिया-किशनगंज निर्वाचन क्षेत्र में हाजी अब्दुस सुबहान (Abdus Subhan) को राजद (RJD) की उम्मीदवारी ‘विकल्पहीनता’ की स्थिति में मिली है. हो सकता है यह प्रतिद्वंद्वियों का शिगूफा हो, लोग चर्चा करते हैं कि इस ‘कठिन चुनाव’ में किस्मत आजमाने से बड़े-बड़े लोग मुकर गये तब हाजी अब्दुस सुबहान को अवसर उपलब्ध कराया गया.

इस संदर्भ में कहा जाता है कि सीमांचल एवं कोशी अंचल के बड़े कारोबारी एवं पनोरमा ग्रुप के बहुचर्चित संचालक संजीव मिश्र (Sanjiv Mishra) की संभावना संवर नहीं पायी तब राजद नेतृत्व ने पार्टी के व्यावसायिक प्रकोष्ठ के प्रदेश उपाध्यक्ष राजकुमार चौधरी (Rajkumar Chaudhary) पर चुनाव लड़ने का दबाव बनाया. राजकुमार चौधरी 2020 के विधानसभा चुनाव में पूर्णिया (Purnea) से राजद के दावेदार थे. महागठबंधन में यह सीट कांग्रेस (Congress) के कोटे में गयी और उम्मीदवारी इंदू सिन्हा (Indu Sinha) को मिल गयी.

राजनीति से मोहभंग
उनके निकट के लोग बताते हैं कि उस चुनाव में मिली निराशा के बाद राजकुमार चौधरी का राजनीति से लगभग मोह भंग हो गया है. संभवतः यही वजह है कि उन्होंने डा. दिलीप जायसवाल (Dr. Dilip Jaiswal) के खिलाफ मैदान में उतरने से साफ इनकार कर दिया. उन्होंने अपना पूरा ध्यान पूर्णिया नगर निगम के महापौर पद के चुनाव पर केन्द्रित कर रखा है. संजीव मिश्र (Sanjiv Mishra) की बात क्यों नहीं बन पायी, यह नहीं कहा जा सकता.

राजकुमार चौधरी के इनकार के बाद राजद नेतृत्व ने अररिया (Araria) के पूर्व सांसद सरफराज आलम (Sarfaraj Alam) की पीठ पर हाथ रखा. डा. दिलीप जायसवाल से टकराने के लिए वह भी तैयार नहीं हुए. अंततः हाजी अब्दुस सुबहान पर दांव खेलने का निर्णय हुआ. प्रतिद्वंद्वियों की नजर में हाजी अब्दुस सुबहान मुकाबले को दिलचस्प मोड़ शायद ही दे पायेंगे. पर, राजद के रणनीतिकार डा. दिलीप जायसवाल के खिलाफ उन्हें बहुत ही मजबूत उम्मीदवार मान जीत के प्रति आशान्वित हैं.

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