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तिरहुत स्नातक क्षेत्र : ब्रजवासी की धूम, हवा हो गयी उनकी गुम!

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विकास कुमार
12 दिसम्बर 2024

Patna : विधान परिषद के तिरहुत स्नातक क्षेत्र (Tirhut Graduate Constituency) के उपचुनाव (By Election) में शिक्षक नेता बंशीधर ब्रजवासी (Banshidhar Brajwasi) ने सत्तारूढ़ और विपक्षी गठबंधनों के साथ-साथ बड़े बदलाव का ख्वाब बांटते राजनीति में उतरे प्रशांत किशोर (Prashant Kishor) की जन सुराज पार्टी (Jan Suraj Party) के उम्मीदवारों को मुंह के बल गिरा बड़ी जीत हासिल कर ली. अनुमानों व आकलनों के उलट आये इस परिणाम से राजनीति चकित रह गयी. इन दलों के रणनीतिकार भी हताश-निराश हुए. ऐसा स्वाभाविक है.

ज्यादा सदमा उन्हें पहुंचा होगा
पर, ‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌‌विश्लेषकों की समझ में बंशीधर ब्रजवासी की इस क्रांतिकारी जीत से सबसे ज्यादा सदमा अगर किसी को पहुंचा होगा तो वह विकासशील इंसान पार्टी (VIP) के सुप्रीमो मुकेश सहनी (Mukesh Sahani) होंगे. ऐसा इसलिए कि बंशीधर ब्रजवासी के रूप में एक ऐसा स्वजातीय संघर्षशील नेतृत्व उभर आया है जो देर सवेर सहनी समाज (Sahani Samaj) की राजनीति को अपने अनुकूल मोड़ ले सकता है. हालांकि, मुकेश सहनी ने बंशीधर ब्रजवासी की जीत पर खुशी का इजहार किया है, स्वजातीय समाज की जीत बताया है. पर, आसपास रहने वालों को इस जीत से उनकी हवा गुम हो जाने जैसा अहसास हो रहा है.


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हैं कौन बंशीधर ब्रजवासी
डर यह भी कि जिस मुद्दे को लेकर मुकेश सहनी अपनी राजनीति चमकाने का जद्दोजहद कर रहे हैं उसे कहीं बंशीधर ब्रजवासी न हड़प लें. क्या होगा क्या नहीं यह भविष्य की बात है. फिलहाल यह जिज्ञासा जरूर पैदा हुई होगी कि शिक्षकों की अप्रत्याशित एकजुटता के बूते तिरहुत स्नातक क्षेत्र के तमाम समीकरणों को उलट-पलट कर उपचुनाव में जीत का पताका लहरा देने वाले बंशीधर ब्रजवासी आखिर हैं कौन? इनके पीछे शिक्षकों की ऐसी चट्टानी एकजुटता कैसे और क्यों हुई?

संस्थापक‌ अध्यक्ष हैं संघ के
तो पहले यह जानते हैं कि सत्ताधारी और विपक्षी गठबंधनों के उम्मीदवारों को धूल चटा तिरहुत की राजनीति में नये चेहरे के तौर पर उभार पाये बंशीधर ब्रजवासी हैं कौन? अधिसंख्य लोग इतना भर ही जानते होंगे कि बंशीधर ब्रजवासी परिवर्तनकारी प्रारंभिक शिक्षक संघ (Primary Teachers Association) के संस्थापक‌ (Founder) अध्यक्ष हैं. 2005 से नियोजित शिक्षकों को पूर्ण शिक्षक का दर्जा दिलाने यानी सेवा नियमित करने का आंदोलन चला रहे हैं. इसी क्रम में कुछ माह पूर्व वह शिक्षा विभाग के कड़क मिज़ाज अपर प्रधान सचिव के के पाठक (K. K. Pathek) से टकरा गये. परिणामस्वरूप 30 मई 2024 को उन्हें निलंबित कर दिया गया. फिर 25 जुलाई 2024 को शिक्षक पद से उनकी बर्खास्तगी हो गयी.

 

पिता भी थे शिक्षक
विश्लेषकों के मुताबिक यही बर्खास्तगी तिरहुत स्नातक क्षेत्र में उनकी जीत का मुख्य आधार बन गयी. बर्खास्तगी के विरोध में उन्होंने जो आक्रामक मुहिम चलायी उससे हवा का रुख बदल गया. फिर पत्नी और बच्चों के साथ भावुकता से भरा उनका जो वीडियो जारी हुआ उससे शिक्षकों में सहानुभूति की ऐसी लहर उठ गयी कि तिरहुत स्नातक क्षेत्र के तमाम समीकरण ध्वस्त हो गये. शिक्षक पद से बर्खास्तगी का लोकतांत्रिक तरीके से जवाब मिल गया. सहनी बिरादरी के बंशीधर ब्रजवासी मुजफ्फरपुर जिले के मड़वन प्रखंड क्षेत्र के रक्सा गांव के रहने वाले हैं. उत्क्रमित मध्य विद्यालय, रक्सा पूर्वी में वह प्रखंड शिक्षक थे. 2005 में बहाली हुई थी. उनके पिता नंदकिशोर सहनी भी शिक्षक थे.

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